Umaria: विधायक मीना सिंह 3 घंटे धरना क्या दी,दूसरे ही दिन Ceo ईला तिवारी पर गिर गई गाज.?यहां जानिए इसकी खास वजह

उमरिया (संवाद)। उमरिया जिले में एक बार फिर मानपुर क्षेत्र की विधायक सुश्री मीना सिंह की नाराजगी जिला पंचायत की मुख्य कार्यपालन अधिकारी ईला तिवारी को झेलना पड़ी है। मानपुर जनपद पंचायत के अंतर्गत रोजगार सहायक और सचिव के वित्तीय प्रभार के चलते विधायक मीना सिंह जिला पंचायत कार्यालय में 3 घंटे तक धरना दिए जाने के बाद उसके दूसरे ही दिन को का स्थानांतरण हो गया।
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Umaria: विधायक मीना सिंह 3 घंटे धरना क्या दी,दूसरे ही दिन Ceo ईला तिवारी पर गिर गई गाज.?यहां जानिए इसकी खास वजहUmaria: विधायक मीना सिंह 3 घंटे धरना क्या दी,दूसरे ही दिन Ceo ईला तिवारी पर गिर गई गाज.?यहां जानिए इसकी खास वजहUmaria: विधायक मीना सिंह 3 घंटे धरना क्या दी,दूसरे ही दिन Ceo ईला तिवारी पर गिर गई गाज.?यहां जानिए इसकी खास वजहUmaria: विधायक मीना सिंह 3 घंटे धरना क्या दी,दूसरे ही दिन Ceo ईला तिवारी पर गिर गई गाज.?यहां जानिए इसकी खास वजहUmaria: विधायक मीना सिंह 3 घंटे धरना क्या दी,दूसरे ही दिन Ceo ईला तिवारी पर गिर गई गाज.?यहां जानिए इसकी खास वजहUmaria: विधायक मीना सिंह 3 घंटे धरना क्या दी,दूसरे ही दिन Ceo ईला तिवारी पर गिर गई गाज.?यहां जानिए इसकी खास वजह
मिली जानकारी के मुताबिक मानपुर क्षेत्र की विधायक और पूर्व मंत्री सुश्री मीना सिंह अपने विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत जनपद पंचायत मानपुर के ग्राम कठार सहित कुछ अन्य गांव के रोजगार सहायक या सचिव के वित्तीय प्रभार हटाना सहित उन पर मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत इला तिवारी के द्वारा की गई कार्यवाही के खिलाफ वह जिला पंचायत कार्यालय पहुंची हुई थी। जहां वह लगभग 3 घंटे तक बैठी रही।
यह भी जानकारी मिली है की विधायक मीना सिंह के जिला पंचायत पहुंचते ही सीईओ ईला तिवारी कुछ काम से या वीसी के चलते कुछ देर वहां मौजूद नहीं थी, तब भी विधायक मीना सिंह जिला पंचायत में ही बैठी रही। लगातार लगभग 3 घंटे तक जिला पंचायत में बैठने के दौरान बाद में उनकी सीओ इला तिवारी से भी बैठक हुई है इस दौरान उन्होंने जमकर नाराजगी जताई। उनके द्वारा साफ तौर पर सीईओ इला तिवारी से रोजगार सहायक और सचिवों पर की गई कार्यवाही के संबंध में बात की है।
यह भी जानकारी मिली है कि उन्होंने सीईओ से कहा है कि उनके द्वारा रोजगार सहायक और सचिवों पर की गई कार्यवाही कांग्रेसियों की झूठी और अनर्गल शिकायतों के आधार पर की गई है जो सरासर गलत है। उन्होंने इस बात को लेकर सीईओ इला तिवारी से जमकर नाराजगी जाहिर की है। उनका कहना था कि मामले और शिकायत की निष्पक्ष जांच करने के बाद ही कार्यवाही किया जाना था लेकिन सीईओ इला तिवारी ने ऐसा नहीं किया और सीधे कार्यवाही कर दी।
यह भी जानकारी मिली है कि विधायक सुश्री मीणा सिंह के द्वारा जिला पंचायत कार्यालय में बैठे रहने के दौरान अपने सरकार के मंत्रियों और शायद मुख्यमंत्री से भी इस संबंध में बात की है। उन्होंने साफ तौर पर यह भी कहा है कि सीईओ जिला तिवारी के द्वारा उनके समर्थक रोजगार सहायक या सचिव पर कांग्रेसियों के कहने पर कार्यवाही की गई है। जिला पंचायत में यह पूरा घटनाक्रम 15 मार्च को देखने को मिला है जबकि उसके दूसरे दिन 16 मार्च को ही सीईओ इला तिवारी का स्थानांतरण भोपाल में उप सचिव के लिए हो गया।
हालांकि सीईओ इला तिवारी का स्थानांतरण मीना सिंह की नाराजगी है या फिर यह बात भी सामने आई है कि वह स्वयं स्थानांतरण कराकर यहां से जाने वाली थी, इस संबंध में यह भी जानकारी मिली है कि इला तिवारी के द्वारा स्वयं पत्र लिखकर शासन को भेजा गया था। सच्चाई जो भी हो लेकिन उनके स्थानांतरण के एक दिन पहले जिला पंचायत में विधायक सुश्री मीना सिंह के द्वारा जिस कदर धरना देकर उनके ऊपर नाराजगी व्यक्त की है, उसके कारण भी लोग उनके स्थानांतरण की वजह मान रहे हैं।
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