Bandhavgarh Tiger Rijarve (संवाद)। बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के पतौर परिक्षेत्र अंतर्गत जंगल से लगे गांव बकेली-उमरिया में बीते तीन दिनों से एक बाघिन के गांव के समीप मौजूदगी से जहां ग्रामीण 3 दिनों से हलाकान और भयभीत रहे हैं। वही बाघिन की लगातार चौकसी कर रही वन विभाग की टीम ने बाघिन का रेस्क्यू कर उसे पकड़ लिया है। अब उसे टाइगर रिजर्व के अंतर्गत बाड़े में शिफ्ट किया जाएगा।
3 दिनों से ग्रामीणों को हलाकान और भयभीत कर रखी बाघिन का वन विभाग ने किया रेस्क्यू,बाड़े में किया जाएगा शिप्ट
दरअसल बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व अंतर्गत सीमा से लगे दर्जनों गांव के आसपास बाघ के आने जाने या वहीं नजदीक रहवास बनाने से ग्रामीण भयभीत रहते हैं। ग्रामीणों को हमेशा उनकी मवेशियों और स्वयं की जान का खतरा बना रहता है इसके पहले भी कई बार बाघ के द्वारा ग्रामीणों के ऊपर हमला किए जाने की खबरें आती रहती हैं। बीते तीन दिनों पहले भी पता और वन परिक्षेत्र अंतर्गत जंगल की सीमा से लगे गांव बकेली-उमरिया में एक बाघिन की मौजूदगी से पूरा गांव सहमा रहा है।
3 दिनों से ग्रामीणों को हलाकान और भयभीत कर रखी बाघिन का वन विभाग ने किया रेस्क्यू,बाड़े में किया जाएगा शिप्ट
ग्रामीणों के द्वारा बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के अधिकारियों को सूचना दिए जाने के बाद वन विभाग की टीम लगातार बाघिन की चौकसी कर रहा था। प्रबंधन का प्रयास रहा है कि बाघिन को गांव के नजदीक से हटाकर जंगल की ओर खदेड़ दिया जाए। इसके लिए वन विभाग ने प्रशिक्षित हाथियों की मदद से प्रयास में लगा रहा। इसके अलावा गांव के आसपास मौजूद झाड़ी जहां बाघिन छिप रही थी उसे भी जेसीबी के माध्यम से उजाड़ दिया गया। लेकिन बाघिन गांव के पास से हटने का नाम नहीं ले रही थी।
3 दिनों से ग्रामीणों को हलाकान और भयभीत कर रखी बाघिन का वन विभाग ने किया रेस्क्यू,बाड़े में किया जाएगा शिप्ट
इसके बाद वन विभाग की टीम और ट्रेंकुलाइज करने में प्रशिक्षित डॉक्टर और स्टाफ ने बाघिन को गांव से दूर ले जाने उसे ट्रेंकुलाइज कर उसका रेस्क्यू किया गया। बाघिन को बेहोशी की हालत में पिंजरे में कैद कर ट्रक के माध्यम से ले जाया गया है। जहां उसे बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के भीतर बने बाड़े में शिफ्ट किया जाएगा।