उमरिया/चंदिया (संवाद)। एक बात बिल्कुल भी समझ नहीं आती कि जब क्षेत्र की आम जनता और वहां के निवासी किसी शासकीय कर्मचारीे की कार्यशैली से प्रताड़ित हैं और उससे त्रस्त हो चुके है। वह लोग उसे वहां से हटाने की मांग लगातार कर रहे हैं,तब फिर शासन और प्रशासन को उसे वहां से हटाने के लिए पसीने क्यो छूट रहे हैं।
ग्राम कौड़िया निवासी तहसील चंदिया में पदस्थ हल्का पटवारी लोढ़ा सूर्य कांत सोनी का स्थानांतरण विगत वर्ष शासन के द्वारा तहसील चंदिया से तहसील बिलासपुर के लिए किया गया था। लेकिन उक्त पटवारी स्थानीय और प्रभावशील होने के कारण उसे तहसील चंदिया से भारमुक्त नहीं किया जा रहा है। लोंगो ने बताया कि पटवारी सूर्यकांत सोनी लगातार विवादों में रहते हुए कई न्यायालयीन प्रकरणों में हेरा फेरी करने में सफल रहा है। उसके द्वारा राजस्व प्रकरण में हेराफेरी के साथ भ्रष्टाचार में लिप्त रहकर अच्छा खासा पैसे की उगाही करने की भी चर्चा आम है।
बताया गया कि उक्त पटवारी, तहसीलदार और प्रशासन का चहेता है। पटवारी की शिकायत प्रताड़ित किसानों के अलावा अधिवक्ताओं और जनप्रतिनिधियों ने जिले के लोकप्रिय माननीय कलेक्टर साहब से लेकर संभागायुक्त शहडोल से कई बार लिखित शिकायत कर स्थानांतरित पटवारी सूर्यकांत सोनी को भारमुक्त करने की मांग की गई है। लेकिन आज तक उस भ्रष्ट पटवारी को भारमुक्त करने का फैसला नहीं लिया गया है जिससे तहसील चंदिया में आम किसानों में भारी रोष है।
अब बड़ा सवाल यह कि एक ओर जहां मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भ्रष्ट और गड़बड़ी करने वाले अधिकारी- कर्मचारियों को बाहर का रास्ता दिखा रहे हैं। भरे मंच से उन्हें सस्पेंड किया जा रहा है। लेकिन वही उमरिया जिले के चंदिया तहसील अंतर्गत चंदिया नगर में पदस्थ भ्रष्ट और गड़बड़ी के आरोपी पटवारी सूर्यकांत सोनी को हटाने के लिए जिला प्रशासन को पसीने क्यों छूट रहे हैं?