◆ बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के बफर क्षेत्र से लगे कटनी जिले के जाजागढ़ में मनमाना रेत खनन।
◆ नदी का सीना छलनी कर रहे रेत माफिया।
कटनी (संवाद)। बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व बफर क्षेत्र से लगे कटनी जिले के जाजागढ़ और आसपास बाघों के मूवमेंट वाले क्षेत्र में विस्टा सेल्स कंपनी के द्वारा खुलेआम नदियों का सीना छलनी कर रेत का अवैध उत्खनन किया जा रहा है। नदी किनारे रैंप बनाकर भारी वाहनों को घाट तक ले जा रहा हैं। जंगल के अंदर से गुजरने वाली नदी में पंप लगाकर कई फिट गहराई तक रेत का अवैध खनन किया जा रहा है।
आसपास गांव के ग्रामीणों ने बताया कि बिरुहली में काफी अंदर तक वनक्षेत्र में रेत खनन की अवैध गतिविधियां संचालित हो रही है। रेत माफिया की पीठ पर प्रभावशाली नेता का हाथ होने के कारण अधिकारी भी कार्रवाई की हिम्मत नहीं जुटा पा रहे हैं। जाजागढ़ वनक्षेत्र में जंगल के अंदर रेत का स्टॉक कर पहाड़ बना दिया गया है। रेत परिवहन के लिए जंगल में भारी वाहनों का खुलेआम प्रवेश हो रहा है।
बता दें कि रेत के मनमाने खनन और परिवहन पर कार्रवाई के लिए कलेक्टर प्रियंक मिश्रा ने पहले भी राजस्व, वन, परिवहन और पुलिस की संयुक्त टीम द्वारा कार्रवाई करने के निर्देश दिए गए हैं। लेकिन संयुक्त टीम के द्वारा न तो मौका मुआयना किया गया और न ही कोई कार्यवाही। कार्यवाही के नाम कभी कभार ट्रेक्टर पकड़ लिया जाता है और जुर्माना कराकर छोड़ दिया जाता है। कलेक्टर प्रियांक मिश्रा के द्वारा गठित टीम के द्वारा किसी भी प्रकार की कोई कार्यवाही न किये जाने से अब कलेक्टर कटनी पर ही सवाल खड़े होने लगे है।
ऐसे हो रहा मनमाना खनन
जंगल के अंदर नदियों से कई फिट गहराई में रेत निकाली जा रही है। पर्यावरण मानकों को ताक पर रख दिया गया है। बांधवगढ़ टाईगर प्रबंधन, वन विभाग और प्रदूषण नियंत्रण विभाग के जिम्मेदारों ने चुप्पी साध रखी है।
जिले में कई रेत घाट में ज्यादा गहराई के कारण पूर्व में भी कई बच्चों की डूबने से मौत तक हो गई है। रेत का अवैध परिवहन मैहर, सतना व अन्य जिलों में हो रहा है। रास्ते में पुलिस द्वारा वाहनों की जांच नहीं की जाती है। पुलिस ग्रामीणों के ट्रैक्टर पकड़कर ही रेत पर कार्रवाई की कोरम पूरा कर रही है।
जंगल के अंदर नदियों से कई फिट गहराई में रेत निकाली जा रही है। पर्यावरण मानकों को ताक पर रख दिया गया है। बांधवगढ़ टाईगर प्रबंधन, वन विभाग और प्रदूषण नियंत्रण विभाग के जिम्मेदारों ने चुप्पी साध रखी है।
जिले में कई रेत घाट में ज्यादा गहराई के कारण पूर्व में भी कई बच्चों की डूबने से मौत तक हो गई है। रेत का अवैध परिवहन मैहर, सतना व अन्य जिलों में हो रहा है। रास्ते में पुलिस द्वारा वाहनों की जांच नहीं की जाती है। पुलिस ग्रामीणों के ट्रैक्टर पकड़कर ही रेत पर कार्रवाई की कोरम पूरा कर रही है।